Breaking
13 Mar 2025, Thu

C-प्लेन ने बढ़ाई सियासी गर्मी, आरोप कराची से आया था सी-प्लेन

...

वेब डेस्क: नरेंद्र मोदी द्वारा सी-प्लेन की सवारी ने सियासी गर्मी बढ़ा दी है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार बीते मंगलवार 12 दिसंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जिस सी-प्लेन में सवार होकर साबरमती नदी से उड़ान भरी और मेहसाणा जिले के धरोई बांध तक का सफर तय किया था वो कराची से आया था।

ये बात तब सामने आई है नरेंद्र मोदी द्वारा आरोप लगाया है कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने पाकिस्तान के पूर्व विदेश मंत्री से अय्यर के घर पर मुलाकात की थी। मोदी के इस बयान के बाद मनमोहन सिंह ने अपनी चुप्पी तोड़ते हुए पलटवार भी किया था।

प्रियंका गांधी ने साधा निशाना
प्रधानमंत्री मोदी के सी-प्लेन को लेकर एक ऐसे ट्विटर हैंडिल से सवाल उठाए गए हैं, जिसे प्रियंका गांधी वडरा का बताया जा रहा है। हालांकि इसके प्रोफाइल में साफ लिखा है कि यह अकाउंट प्रियंका गांधी के फैन्स, समर्थकों और फॉलोअर्स द्वारा मैनेज किया जाता है। इसी ट्वीटर अकाउंट से लिखा गया है कि  प्रधान सेवक ने एक सिंगल इंजिन जेट में उड़ान भरी, जो कि सुरक्षा मानकों का उल्लंघन है। इसके अलावा ये जेट कराची (पाकिस्तान) से आया था, तो क्या इसकी गहनता से जांच-पड़ताल की गई थी। इस पूरे मामले की शुरु से आखिर तक जांच करने करने की जरूरत है।

कराची से आने की सच्चाई
दरअसल, मोदी ने जिस सी-प्लेन में सवारी की थी उसका नंबर एन181केक्यू है। इसकी पड़ताल करने के करने पर पता चला कि यह सी-प्लेन कराची से होकर भारत आया था। तीन दिसंबर को यह प्लेन कराची में था। कराची से होते हुए यह मुंबई पहुंचा था, जिसका परिक्षण नितिन गडकरी ने भी किया था। कनाडा के मूल निवासी पायलट जॉन गौलेट इस प्लेन को उड़ा रहे थे। यह प्लेन अमेरिकन कंपनी क्वेस्ट एयक्रॉफट के नाम से रजिस्टर है हालांकि इसका मालिक कौन है इस बात को सामने नहीं लाया जा रहा है।

इसे भी पढ़ें-  ED की बड़ी कार्रवाई, पूर्व CM भूपेश बघेल के घर पर छापा

तीन दिन तक मुंबई में रहा
यह सी-प्लेन तीन दिसंबर को कराची से आकर मुंबई में रूका हुआ था। वहीं पर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने भी इसका परिक्षण किया था। स्पाइज जेट द्वारा भी ऐसे ही सी-प्लेनों के खरीद की बात कही जा रही है।

प्रधानमंत्री ने तोड़ा प्रोटोकॉल?
इस सी-प्लेन की सवारी कर प्रधानमंत्री ने अपनी सुरक्षा संबंधी प्रोटोकॉल को ताक पर रख दिया। इसका कारण यह है कि इस प्लेन में केवल एक ही इंजन लगा हुआ था। अगर यह इंजन फेल हो जाता तो पीएम की सुरक्षा खतरे में पड़ सकती थी। इतना ही नहीं प्रोटोकॉल के अनुसार पीएम केवल एयरफोर्स व एयर इंडिया के जहाजों पर उड़ान भर सकते हैं साथ ही एयरफोर्स व एयरइंडिया के विशेष प्रशिक्षण प्राप्त पायलट ही पीएम के जहाज को उड़ा सकते हैं। जबकि इस सी-प्लेन को एक विदेशी पायलट चला रहा था।

 

By Ashutosh shukla

30 वर्षों से निरन्तर सकारात्मक पत्रकारिता, संपादक यशभारत डॉट काम

Leave a Reply